राहुल गांधी के बयान से समाज में वैमनस्यता फैली- विनोद अग्रवाल

देश

मथुरा। भाजपा महानगर अध्यक्ष विनोद अग्रवाल ने कहा है कि सूरत सेशन कोर्ट ने राहुल गांधी को मानहनि मामले में 2 साल की सजा दी है। कांग्रेस के नेतागण इस मामले में बातें तो बहुत कर रहे हैं, किन्तु वे ये नहीं बता रहे हैं कि आखिर राहुल गांधी ने क्या कहा था, जिसके कारण उन पर मानहानी का मुकदमा चला।
, 2019 के लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान राहुल गांधी ने कर्नाटक में कहा था कि सभी चोरों का सरनेम मोदी क्यों होता है? आखिर राहुल गाँधी के इस वक्तव्य का तात्पर्य क्या था? ‘मोदी’ सरनेम जाति सूचक शब्द है, ‘मोदी’ सरनेम वाले कई लोग खिलाड़ी, डॉक्टर, इंजीनियर, नेता, प्रोफेशनल, कारोबारी इत्यादि हैं।
राहुल गांधी ने ‘मोदी’ सरनेम पर ऐसी बात कही तो क्या उन पर कानूनी कार्रवाई नहीं होनी चाहिए ?
यदि राहुल गांधी किसी खास सरनेम से जुड़े लोगों को इस तरह सार्वजनिक तौर पर अपमानित करेंगे कि जिसका सरनेम मोदी होता है वह चोर होता है, तो मानहानि का मामला बनता है। इस मामले में सूरत सेशन कोर्ट में बकायदा सुनवाई हुई और राहुल गांधी को भी अपना पक्ष रखने का भरपूर समुचित अवसर दिया गया।
यदि राहुल गाँधी सोचते हैं कि किसी को भी गाली देने और अपमानित करने का उन्हें अधिकार है, तो उनकी गाली से पीड़ित व्यक्ति को भी मानहानि का मुकदमा दर्ज करने का अधिकार है।
भारतीय दंड संहिता के अनुसार, कोई भी व्यक्ति यदि किसी संगठन या किसी व्यक्ति विशेष को गाली देता या अपमानजनक शब्द कहता है, तो पीड़ित व्यक्ति या संस्था द्वारा उसके खिलाफ मानहानी का मुकदमा दायर करने का अधिकार होता है। क्या कांग्रेस पार्टी को इस कानून से भी परेशानी है?
आप गाली देंगे, आप देश की सेना का अपमान करेंगे, देश के शहीदों की शहादत का मजाक बनाएंगे, आप राष्ट्रशक्ति का अपमान करेंगे, आप देश के मतदाताओं का अपमान करेंगे और कहेंगे कि मैं सत्य और अहिंसा में विश्वास करता हूं, ऐसा कैसे और कब तक चलेगा
महानगर अध्यक्ष विनोद अग्रवाल ने कहा की
कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खडगे की टिप्पणी बेहद आश्चर्यजनक लगती है, जब वे कहते हैं कि इस मामले में कोर्ट के न्यायधीश बार बार बदले गए। इसका सीधा अर्थ है कि कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खडगे को देश की न्यायिक व्यवस्था पर भी भरोसा नहीं है। क्या कांग्रेस पार्टी न्यायपालिका को भी जेब में रखना चाहती है? खडगे जी कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं, अतः उन्हें जिम्मेदारी से बयान देना चाहिए। खडगे जी द्वारा बार बार न्यायाधीश बदलने वाला बयान देना अदालत की अवमानना है।

हाल ही में उत्तर पूर्व में हुए चुनावों में कांग्रेस को करारी हार का सामना करना पड़ा। 

राहुल, सिर्फ इसलिए कि लोग आपको वोट नहीं देते हैं, इसका मतलब यह नहीं है कि आपको उन्हें दोष देने का अधिकार है, इसका मतलब यह नहीं है कि आपको विदेशी धरती पर भारत और उसके लोकतांत्रिक मूल्यों को बदनाम करने का लाइसेंस मिल गया है।
विदेशी धरती पर जाकर अपने देश को गाली देना है? उन्होंने देश के प्रति कितनी भद्दी बातें पिछले दिनों कही थीं, वह सार्वजनिक है।

• राहुल गांधी ने विदेश जाकर भारत को बदनाम करने, देश के खिलाफ नफरत के बीज बोते रहे हैं। अभी हाल ही में राहुल गांधी ने लंदन में कहा था कि भारत एक राष्ट्र नहीं, बल्कि राज्यों का संघ है। इससे पता चलता है कि राहुल गांधी को भारत राष्ट्र के बारे में कितनी समझ है? दरअसल, यह एक माओवादी सोच है कि भारत कोई देश नहीं, बल्कि राज्यों का समूह है, जिसे संवैधानिक दबाव में एक रखा गया है।
राहुल गांधी ने यह भी कहा कि जम्मू कश्मीर में बहुत हिंसक राज्य है। जबकि पिछले आठ सालों में जम्मू कश्मीर में हिंसक घटनाओं में बहुत कमी आयी है। जम्मू कश्मीर में शांति बहाली का परिणाम है कि राहुल जी श्रीनगर में तिरंगा फहराकर आए।

चिंगारी की जरूरत है। भारतीय विदेश सेवा की आलोचना करने में भी राहुल गांधी पीछे नहीं रहे। लंदन में पुलवामा हमले को महज कार धमाका करार देकर राहुल गाँधी ने पुलवामा शहीदों का अपमान किया।
गाली देने के मामले में राहुल गांधी और कांग्रेस पार्टी का कोई जवाब नहीं है। राजस्थान कांग्रेस प्रभारी सुखविन्दर रंधवा ने पिछले दिनों पीएम मोदी को ख़त्म करने की बात कही है। जयराम रमेश प्रधानमंत्री की तुलना हिटलर और स्टालिन से करते रहते हैं। रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि मोदी तेरी कब्र खुदेगी। पवन खेड़ा ने मोदी जी के पिता जी का अपमान किया। कांग्रेस नेताओं के कुछ गाली इतने शर्मनाक हैं कि उसे बोला नहीं जा सकता है।
ऽ राहुल गांधी ने चार साल पहले पिछड़ा समाज के खिलाफ सार्वजनिक रूप बोला नही जा सकता,,,
ऽ अदालत का फैसला यह दर्शाता है कि देश का कानून और देश का संविधान सबसे ऊपर है और उसकी नजर में देश के सभी नागरिक समान हैं। अदालत का निर्णय यह भी सिद्ध करता है कि चाहे कोई कितना भी बड़ा क्यों न हो, यदि उसने अपराध किया है तो उसे सजा जरूर मिलेगी।
ऽ राहुल गांधी ने पिछड़ों के बारे में जो अनर्गल और आपत्तिजनक बातें की थी, उसकी हम सब ने तब भी निंदा की थी, आज भी निंदा कर रहे हैं।

ऽ प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने पिछड़ा वर्ग आयोग को संवैधानिक दर्जा दिया। कांग्रेस ने कभी इस वर्ग की चिंता नहीं थी। आज मोदी जी के नेतृत्व में समाज का हर एक वर्ग उनके पीछे खड़ा है। वे सबका प्रतिनिधित्व करते हैं।

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