नवसंवत्सर की शुभकामनाओं के साथ हुआ नववर्ष मेला का समापन

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बच्चों को धर्म आधारित शिक्षा दी जाएं – अनिरूद्धाचार्य

सांस्कृतिक कार्यक्रमों में दिखाई दी भारतीय संस्कृति की झलक


मथुरा। नववर्ष मेला समिति के तत्वावधान में आयोजित 23 वें विशाल नववर्ष मेला में भागवताचार्य डॉ० अनिरूद्धाचार्य महाराज ने सभी को भारतीय नववर्ष की शुभकामनाएं देते हुए बच्चों को गुरुकुल शिक्षा पद्धति और धर्म आधारित शिक्षा देने की मांग की। उन्होंने स्कूलों में गीता और रामायण पढ़ाने की बात कहीं।


भागवताचार्य डॉ० अनिरूद्धाचार्य महाराज ने सेठ वी० एन० पोद्दार इंटर कॉलेज मथुरा में सोमवार को आयोजित विशाल नववर्ष मेला में मुख्य अतिथि के रुप में बोलते हुए कहा कि पीढ़ी के उत्थान के लिए वर्तमान पीढ़ी को धर्म का ज्ञान देना चाहिए। सरकार को गुरुकुल पद्धति का प्रचलन करना चाहिए। उन्होंने कहा कि पहले भारत में गुरुकुल व्यवस्था थी। पहले विद्यार्थियों को धर्म, अर्थ, काम, मोक्ष इन विषयों का ज्ञान दिया जाता था, अब विद्यालयों में धर्म व मोक्ष की शिक्षा नहीं दी जाती, केवल अर्थ और काम की शिक्षा दी जाती है। धर्म का ज्ञान न होने की वजह से वर्तमान पीढ़ी का विध्वंस हो गया है। उन्होंने कहा कि धर्म के बिना व्यक्ति शोभावान नहीं होगा। रावण के पास सब कुछ था, किंतु धर्म नहीं था और श्री राम के पास कुछ नहीं था केवल धर्म था, इसलिए श्री राम के मंदिर बनाए जाते हैं और रावण के पुतले जलाए जाते हैं।
भगवताचार्य ने कहा की सारी दुनिया 2024 में है और हम 2081 में प्रवेश कर रहे हैं। जनवरी में जब सारी दुनिया नववर्ष बनाती है, तब कुछ भी विशेष नहीं होता, किंतु हिंदू नव वर्ष चैत्र शुक्ल प्रतिपदा के दिन नया मौसम, पेड़ों पर नई-नई पत्ती, किसानों की नई-नई फसल कटती है अर्थात स्वयं प्रकृति भी नए वर्ष का संदेश देती है।


विशिष्ट अतिथि प्रोफेसर पी०के० पसौरा, मंगलायतन विश्वविद्यालय ने कहा कि चैत्र शुक्ल प्रतिपदा को ब्रह्मा जी ने सृष्टि की रचना की थी। महाराज विक्रमादित्य ने विदेशी आक्रांताओं पर विजय हासिल कर विक्रम संवत् की स्थापना की, शिवाजी महाराज का राज्याभिषेक भी आज ही के दिन हुआ और सभी को नव वर्ष की शुभकामनाएं दीं।
कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि भगवताचार्य डॉ० अनिरुद्धाचार्य, राजकुमार शर्मा, जयप्रकाश शर्मा, योगेंद्र शर्मा, डॉ० शैलेंद्र प्रताप सिंह ने मां भगवती के चित्रपट के समक्ष दीप प्रज्ज्वलित और माल्यार्पण कर किया। सभी अतिथियों का समिति पदाधिकारियों द्वारा पटका पहनाकर और स्मृति चिन्ह भेंट कर स्वागत किया गया। सांस्कृतिक कार्यक्रम के अंर्तगत छत्रपति शिवाजी महाराज के जीवन शौर्यगाथा पर आधारित “शिवाजी का स्वराज्य” नाटक के रोमांचकारी प्रदर्शन को दर्शकों ने खूब सराहा।
इससे पूर्व भारतीय संस्कृति से ओतप्रोत मंचीय रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों ने समां बांध दिया। बच्चों के सामूहिक और एकल नृत्य ने सभी को मंत्र मुग्ध कर दिया। रूप सज्जा प्रतियोगिता के नन्हें-मुन्ने बच्चों के दयानंद सरस्वती और महारानी लक्ष्मीबाई के स्वरूप सभी को अपनी ओर आकर्षित कर रहे थे। महिला लोकगीत ने के खूब तालियां बटोरीं। सभी प्रतियोगियों को प्रमाण पत्र और स्मृति चिन्ह भेंट किए गए। प्रतियोगिता प्रायोजक मंगलायतन विश्वविद्यालय अलीगढ़ रहे। मेला में पधारे सभी आगुन्तकों को नववर्ष मेला समिति की ओर से गंगा जल और प्रसाद भेंट किया गया।


कार्यक्रम का संचालन महामंत्री प्रदीप श्रीवास्तव ने एवं धन्यवाद ज्ञापन समिति अध्यक्ष कमलेश अरोड़ा ने किया।
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ब्रज प्रांत प्रचारक धर्मेंद्र, कार्यवाह राजकुमार सिंह, डॉ० संजय अग्रवाल, महानगर प्रचारक आरेंद्र, मीडिया प्रभारी मुकेश शर्मा, दीपा अग्रवाल, अनिरुद्ध अग्रवाल, प्रदीप अग्रवाल, हरवीर सिंह चाहर, समीर बंसल, विशाल रोहेला, नयन शर्मा, वृषभान गोस्वामी, सीमा मिश्रा आदि मुख्य रूप से उपस्थित रहे।

सहित संघ के स्वयंसेवक और गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।

हवन से शुरू मेला
मथुरा। नवसंवत्सर की पूर्व संध्या पर नववर्ष मेला समिति मथुरा के तत्वावधान में एक दिवसीय नववर्ष मेला सेठ बी०एन० कॉलेज मथुरा में भूमि पूजन, हवन- यज्ञ और वेद मंत्रोच्चारण के मध्य विधिवत रूप से शुरु हुआ।

हवन में मुख्य यजमान के रूप में आदित्य अग्रवाल ने सपत्नीक हवन में पूर्ण आहुतियां दी। हवन पं० श्यामानन्द चतुर्वेदी जी ने वेद मंत्रों के साथ कराया। हवन यज्ञ में महामंत्री प्रदीप श्रीवास्तव, राजीव कृष्ण, बृजेन्द्र नागर, योगेश आवा, दीपा अग्रवाल, सुभाष सैनी, अजय अग्रवाल, गंगाधर अरोड़ा, प्रदीप अग्रवाल, रामदास चतुर्वेदी, सरदार राजेंद्र होरा, पुन्डरीक्ष पाठक आदि ने हवन में आहुतियां दी और तत्पश्चात प्रसाद वितरण हुआ।

प्रतियोगिताओं में मिला पुरस्कार
मुकेश शर्मा मीडिया प्रभारी ने बताया कि विशाल नववर्ष मेला के अवसर पर आयोजित प्रतियोगिताओं में प्रतिभागियों को प्रथम, द्वितीय और तृतीय स्थान प्राप्त प्रतिभागियों को मेला समिति द्वारा मंच से पुरुस्कृत किया गया। और अन्य सभी को सांत्वना पुरस्कार दिए गए।
निबंध प्रतियोगिता के जूनियर वर्ग में अनुज कुशवाहा प्रथम, काजल द्वितीय तथा मौरिश शर्मा तृतीय रहे । सीनियर वर्ग में प्रथम स्थान समरकांत वर्मा, द्वितीय ज्योति और तृतीय स्थान पर ऋषभ रहे। सामान्य ज्ञान प्रतियोगिता के जूनियर वर्ग में अथर्व चाहर प्रथम, अनुष्का शर्मा द्वितीय तथा पियूष चौधरी तृतीया स्थान पर रहे। सीनियर वर्ग में अभिलाषा चौधरी प्रथम, योगेश कुमार द्वितीय, निशांत व अभय चौधरी तृतीय स्थान पर रहे। मेहंदी प्रतियोगिता में जूनियर वर्ग में प्रथम नेहल मीणा, द्वितीय कीर्ति शर्मा तथा तृतीय स्थान पर खुशी गौतम रही। सीनियर वर्ग में हिमांशी प्रथम, निशा यादव द्वितीय तथा अनुराधा अग्रवाल तृतीय रहे। पोस्टर बनाओ प्रतियोगिता के जूनियर वर्ग में सोनाक्षी गौतम प्रथम, योगिनी गोस्वामी द्वितीय तथा उमंग पांडे तृतीय स्थान पर रहीं। सीनियर वर्ग में प्रथम कशिश चौधरी, द्वितीय विद्यित नागपाल तथा तृतीय स्थान पर योजना गर्ग रहे। रंग भरो प्रतियोगिता के जूनियर वर्ग में प्रथम कृपा, द्वितीय सूर्य प्रताप चौहान तथा तृतीय धीरज अग्रवाल व दृष्टि पाल रहे। सीनियर वर्ग में अनुराग ने प्रथम, सिया माहौर ने द्वितीय तथा राधा ने तृतीय स्थान प्राप्त किया।
रंगोली प्रतियोगिता के जूनियर वर्ग में कुमकुम पांडे प्रथम, प्रिया सेवाल द्वितीय एवं तरुण शर्मा तृतीय स्थान पर है। सीनियर वर्ग में तुषार प्रथम, नैतिक गोला द्वितीय एवं आमोद तृतीय स्थान पर रहे। लोकगीत प्रतियोगिता में शिवम चौधरी ग्रुप ने प्रथम, सीमा मिश्रा ग्रुप ने द्वितीय एवं सोमलता ग्रुप ने तृतीय स्थान प्राप्त किया।
प्रतियोगिताओं के संयोजक रविंद्र प्रताप सिंह, डॉ० नीतू गोस्वामी, मुनीश अग्रवाल, सुरेश कुमार, डॉ० जमुना शर्मा, अनामिका दीक्षित, सुरभी सिंह, सीमा यादव, डॉ० रुचि अग्रवाल, सीमा मिश्रा एवं रजनी भट्ट रहे।

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