– उन्होंने अपने पहले मुख्यमंत्रित्व काल में कस्बे को दिए थे बड़े तोहफ़े
भरतलाल गोयल
फरह। पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह का पार्थिव शरीर मिट्टी में विलीन हो गया हो, किंतु फरह उनकी यादों को अभी भी संजोए हुए है।
श्री सिंह जब पहली बार भाजपा अभिनीत सरकार के 1992 में मुख्यमंत्री बने तो सबसे पहले संघ के,रामेश्वरम, दीनदयालधाम पहुंचे। यहां से उन्होंने क्षेत्र के विकास की ही नहीं अपितु प्रदेश के विकास का विजन प्रस्तुत किया था। उन्होंने स्वास्थ्य और शिक्षा में पिछड़े फरह की सुध ली। तुरंत ही कस्बे के लिए पंडित दीन दयाल के नाम से स्वास्थ्य केंद्र और बालिका इंटर कॉलेज देने की घोषणा की। घोषणा भी ऐसी कि तुरंत अमलीजामा पहनती चली गई। आज हजारों मरीज़ सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र से लाभान्वित हो रहे हैं तो वहीँ बालिका इंटर कॉलेज की छात्राएं शिक्षा के क्षेत्र में प्रतिमान गढ़ रही हैं। स्वास्थ्य और शिक्षा के दोनों ही केंद्र वर्तमान में आदर्श केंद्र बन गए हैं। वरन स्वास्थ्य केंद्र एफआर यू केंद्र बन गया है। जहां आधा दर्जन जांचे फ्री होने के साथ साथ विशेषज्ञों द्वारा मरीजों का बेहतर इलाज मुहैया कराया जा रहा है।
यही नहीं उन्होंने पंडित दीना के गांव के लिए भी उद्योग केंद्र और प्रकल्प खोलकर रोजगार के द्वार खोले थे। काश! वह एक बार और मुख्यमंत्री बन जाते, हमारी दरिद्रता हमसे महरूम हो जाती। 90 वर्षीय किशन स्वरूप ने कहते हुए गहरी साँस ली और उनकी आंखों से आंसू लुढकते चले गए।