देहात में वैक्सीनेशन की गति बढ़ाने को क्लस्टर मॉडल-2.0 अभियान

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नया अभियान 1 नवंबर से, देहात में शत-प्रतिशत वैक्सीनेशन का लक्ष्य,म सौंपा, लेखपाल भी स्वास्थ्य कर्मियों के साथ जुटेंगे

मथुरा। आगामी एक नवम्बर से कोरोना-19 टीकाकरण अभियान में तेजी लाने के लिए क्लस्टर मॉडल-2.0 लागू होगा। शासन ने इसके लिए गाइड लाइन जारी की है। अभियान ग्रामीण क्षेत्रों में फोकस किया जाएगा। इसके लिए राजस्व विभाग को स्वास्थ्य विभाग के सहयोग के रूप में जुटाया जाएगा।
नये अभियान में स्वास्थ्य कर्मियों के साथ लेखपाल घर-घर जाकर पता करेंगे कि कौन से ग्रामीणों का वैक्सीनेशन नहीं हुआ है ? अलग-अलग श्रेणी बनाकर देहात में टीकाकरण अभियान में गति लाई जाएगी। तीन श्रेणियों के कोविड सुरक्षित गांव चयनित होंगे। शत प्रतिशत वैक्सीनेशन कराने वाले गांव के प्रधान को स्वास्थ्य विभाग सम्मानित करेगा।
सीएमओ डॉ रचना गुप्ता के अनुसार कवरेज का आकलन पहली डोज के आधार पर तीन श्रेणियों में बांटकर होगा। शासन से क्लस्टर मॉडल-2.0 के लिए गाइडलाइन जारी की गई है। नई गाइडलाइन में सभी राजस्व ग्रामों में पहली डोज का आकलन करने की जिम्मेदारी लेखपाल को देने के निर्देश दिए गए हैं। लेखपाल के आकलन के बाद सभी राजस्व ग्रामों को कवरेज के हिसाब से तीन श्रेणियों में बांटा जाएगा। फिर स्वास्थ्य विभाग पार्टनर संस्थाओं के सहयोग से क्लस्टर मॉडल योजना तैयार टीकाकरण के लिए कार्ययोजना बनाएगा। शासन ने एक नवंबर से क्लस्टर मॉडल-2.0 लागू करने के आदेश दिए हैं।
नये अभियान में वर्तमान में लागू टीकाकरण व्यवस्थाओं, फिक्स बूथ, क्लस्टर एप्रोच, मेगा वैक्सीनेशन डे के साथ ही दूसरी डोज को वरीयता दी जाएगी। जहां क्लस्टर मॉडल के माध्यम से पहली डोज लगाई गई है, उन स्थानों पर क्लस्टर मॉडल के जरिए ही दूसरी डोज लगाई जाएगी।

कोविड-19 संतृप्त ग्राम तीन श्रेणियों में बटेंगे

मथुरा। कोविड टीकाकरण के प्रथम डोज का लक्ष्य पूरा करने के लिए ग्रामीण क्षेत्रों पर फोकस बढ़ाया जाएगा। 95 प्रतिशत या उससे अधिक, 80 से 95 प्रतिशत और 80 प्रतिशत से कम प्रथम डोज टीकाकरण वाले ग्रामों को तीन श्रेणियों में बांटा जाएगा।
सबसे पहले 80 प्रतिशत से अधिक प्रथम डोज टीकाकरण वाली दोनों श्रेणियों के ग्रामों को संतृप्त किया जाएगा और जिस गांव के सौ फीसदी लाभार्थियों को पहली डोज लग जाएगी, उसे प्रथम डोज संतृप्त गांव कहा जाएगा और ऐसे गांव के प्रधान को सम्मानित किया जाएगा।
इसी प्रकार दोनों डोज पूर्ण करने वाले गांव को कोविड सुरक्षित गांव की संज्ञा दी जाएगी। इसके साथ ही ब्लॉक स्तरीय टास्क फोर्स, पंचायती राज, शिक्षा, आईसीडीएस और ग्राम विकास विभाग आदि के सहयोग से तीसरी श्रेणी वाले ग्रामों को भी प्रथम डोज संतृप्त ग्राम की श्रेणी में लाया जाएगा।

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